उत्तर प्रदेश ( Uttar Pradesh) की बरेली ( BAREILLY ) सेंट्रल जेल (Bareilly Central Jail )से दो दिन पहले फरार कैदी का शव बिजनौर की अस्थाई जेल के बाथरूम में लटका मिला है। कैदी को बुधवार शाम जेल में दाखिल किया गया था। जेल अधिकारी इसे आत्महत्या (suicide) का मामला बता रहे हैं। वहीं, कैदी की पत्नी ने जेल प्रशासन व पुलिस पर कैदी की हत्या करने का आरोप लगाया है। कहा कि बरेली जेल से कैदी को भगाने में भी एक जेल के अधिकारी का हाथ रहा।नरपाल की मौत जेल में दम घुटने से हुई हैं। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में इस बात का खुलासा हुआ हैं।
वह बरेली सेंट्रल जेल (Bareilly Central Jail )की 20 फिट ऊंची दीवार को सरिए के सहारे फांदकर फरार हो गया था। जेल के अधिकारियों के अलावा पुलिस की टीम उसकी तलाश में जुटी थी। बिजनौर में पुलिस की चार टीम उसे ढूंढ रहीं थी।
पुलिस महानिरीक्षक बरेली ने नरपाल पर 50 हजार रूपये का इनाम घोषित किया था। मंगलवार को किरतपुर पुलिस ने नरपाल को घर जाते समय दबोच लिया था। बुधवार की शाम करीब चार बजे नरपाल को पुलिस ने इंदिरा बाल भवन स्थित अस्थाई जेल में दाखिल किया था। वह 15 बंदियों के साथ जेल की बैरक नंबर एक में था। वैसे जेल में 56 बंदी हैं।
गुरुवार सुबह करीब पांच बजे एक बंदी बाथरूम गया तो उसने बाथरूम के रोशनदान में नरपाल का शव लटका देख शोर मचाया। रोशनदान में नरपाल का लोअर बंधा था। लोअर का फंदा नरपाल के गले में था जिससे शव लटका था। बाथरूम का दरवाजा खुला था। कैदी का शव लटका देख जेल प्रशासन के हाथ -पांव फूल गए। जेल अधिकारियों के अलावा डीएम रमाकांत पांडेय व एसपी डा. धर्मवीर सिंह ने जेल के बाथरूम का निरीक्षण किया। शव को नीचे उतारकर पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया।
नरपाल को छह दिसबंर 2010 को कोर्ट ने आजीवान कारावास की सजा सुनाई थी। 28 अप्रैल 2012 को उसे बिजनौर जेल से बरेली सेंट्रल जेल (Bareilly Central Jail )भेजा गया था। नरपाल बरेली जेल मे नंबरदार था। जेल में उसकी 12 साल की सजा पूरी हो गई थी। तीन साल बाद जेल से बाहर आने की उम्मीद थी। एसपी डा. धर्मवीर सिंह के मुताबिक नरपाल ने जेल में फांसी लगाकर खुदकशी की है।
नरपाल की पत्नी कोमल ने आरोप लगाया कि उसके पति की जेल प्रशासन व पुलिस ने मिलकर हत्या की है। उसे पति से नहीं मिलने दिया गया। जेल से भगाने में बरेली जेल के एक अधिकारी का हाथ रहा है। पहले नरपाल को जेल से भगाया। अब उसकी हत्या कर दी। पुलिस ने उसे झूठे मामले में पहले ही जेल भेजा था। अब उसे घर तक नहीं जाने दिया।
वह जेल से फरार होने के बाद परिवार के किसी सदस्य से नहीं मिला। नरपाल को जेल से भागना था तो तब भागता जब उसके पिता मां व भाभी की मौत हुई थी। अब क्यों भागता। बुधवार को प्रधान के माध्यम से उसे किरतपुर थाने बुलाया गया पर महिला पुलिस कर्मियों ने पति से नहीं मिलने दिया। उसे धक्का देकर भगा दिया।