बॉलीवुड ( Bollywood) की मशहूर अभिनेत्री जूही चावला( Juhi Chawla )ने देशभर में 5जी वायरलेस नेटवर्क स्थापित किए जाने के खिलाफ दिल्ली हाई कोर्ट ( Delhi High Court) में याचिका दाखिल की है। इस मामले में आज यानी बुधवार को ऑनलाइन सुनवाई भी हुई। हालांकि इसे तीन बार बाधित करना पड़ा। इस सुनवाई में अभिनेत्री और पर्यावरणविद जूही चावला भी शामिल हुईं। जैसे ही वह शामिल हुईं, किसी ने 1993 की फिल्म ‘हम हैं राही प्यार के’ का एक लोकप्रिय गीत, ‘घूंघट की आड़ से दिलबर का…’ गुनगुनाना शुरू कर दिया।
दरअसल, जूही ( Juhi Chawla ने इस सुवनाई का वीडियो लिंक अपने सोशल मीडिया पर शेयर कर दिया। सुनवाई से बहुत सारे लोग जुड़ गए। जब मामले पर कोर्ट में बहस चल रही थी तो वीडियो लिंक से जुड़े किसी व्यक्ति ने गाना गाना शुरू कर दिया।
न्यायमूर्ति जे आर मिढ़ा ने कहा, “कृपया इसे म्यूट करें”, जबकि जूही चावला की ओर से पेश वकील दीपक खोसला ने कहा, “मुझे आशा है कि इसे किसी प्रतिवादी द्वारा हटाया नहीं जाएगा।” अदालत वादी द्वारा जमा की जाने वाली अदालती फीस के मुद्दे पर सुनवाई कर रही थी, जबकि किसी अन्य बॉलीवुड गीत को गाकर इसे फिर से बाधित किया गया था।
सुनवाई के दौरान एक अन्य प्रतिभागी ने फिर से उनकी फिल्म का गाना गाय। इस बार ‘लाल लाल होठों पे गोरी किस्का नाम है…’ है की आवाज कोर्ट रूम में गूंजी। हालांकि इसे सुनवाई से हटा दिया गया। गाने का सिलसिला यहीं तक नहीं रुका। आगे किसी ने ‘मेरी बन्नो की आएगी बारात…’ की बोल गाया। इसके बाद जज ने व्यक्ति की पहचान कर अवमानना नोटिस जारी करने का आदेश दिया। अदालत ने दिल्ली उच्च न्यायालय के आईटी विभाग को उस व्यक्ति की पहचान करने और आवश्यक कार्रवाई के लिए दिल्ली पुलिस को इसकी जानकारी देने को भी कहा।
जस्टिस मिढ़ा की बेंच ने कहा, ‘हम हैरान हैं। ऐसी याचिका कभी नहीं देखी, जिसमें कोई आदमी बिना किसी जानकारी के कोर्ट आता है और कहता है कि जांच करो। अगर याचिकाकर्ता को विषय के बारे में कोई जानकारी नहीं है तो क्या मामले की सुनवाई की इजाजत दी जा सकती है? हम किस बात की इजाजत दे दें। खामियों से भरी याचिका को मंजूरी दे दें। ऐसा लगता है कि ये याचिका पूरी तरह मीडिया पब्लिसिटी के लिए दाखिल की गई है। ये शॉकिंग है।’
आपको बता दें कि इससे पहले दिल्ली उच्च न्यायालय ने अभिनेत्री जूही चावला ( Juhi Chawla से बुधवार को कहा कि वह देश में 5जी वायरलेस नेटवर्क स्थापित करने के खिलाफ दायर अपनी याचिका पर एक संक्षिप्त नोट दाखिल करें। चावला ने देश में 5जी वायरलेस नेटवर्क स्थापित करने के खिलाफ सोमवार को उच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी। उन्होंने अपनी याचिका में नागरिकों, जानवरों, वनस्पतियों और जीवों पर इस प्रौद्योगिकी के विकिरण के प्रभाव संबंधी मुद्दों को उठाया है।