भारत में जर्मनी के राजदूत वाल्टर जे. लिंडनर( Walter J. Lindner ) ने वन्यजीव संरक्षण के बारे में विस्तार से जानने के लिए मथुरा ( Mathura) के गांव चुरमुरा में वाइल्डलाइफ एसओएस द्वारा संचालित हाथी संरक्षण( Elephant rescue center ) एवं देखभाल केंद्र का दौरा किया। सेंटर में आजीवन देखभाल और उपचार के लिए लाए हाथियों को देखा। उन्होंने एनजीओ के ‘रिफ्यूज टू राइड’ कैंपेन( ‘Refuse to Ride’ campaign ) को भी अपना समर्थन दिया, जो भारत में हाथियों की दुर्दशा की ओर ध्यान आकर्षित करता है। वाल्टर जे. लिंडनर बुधवार को केंद्र पहुंचे। उन्होंने हाथियों को देखने में समय बिताया, जिन्हें अब सभी तरह के दुर्व्यवहार और क्रूरता से मुक्त जीवन जीने का दूसरा मौका मिला है।
अस्पताल में, उन्होंने हाथियों में होने वाले गंभीर स्वास्थ्य मुद्दों को भी जाना और संस्था की पशु-चिकित्सकों की टीम द्वारा घायल, बीमार और वृद्ध हाथियों के इलाज के बारे में भी चर्चा की। बता दें कि जर्मन राजनयिक वाल्टर जे. लिंडनर ( Walter J. Lindner ) एक संगीतकार भी हैं, जिन्होंने पांच से अधिक रिकॉर्ड लांच किए हैं और पहले केन्या, सेशेल्स, वेनेजुएला, दक्षिण अफ्रीका में जर्मन राजदूत के रूप में काम कर चुके हैं।
वाल्टर जे. लिंडनर ( Walter J. Lindner ) ने कहा, कि इन हाथियों को वाइल्डलाइफ एसओएस के कर्मचारियों द्वारा देखभाल और प्यार करते हुए देखना वास्तव में मेरे दिल को लुभा गया। मैं सभी को यहां आने और इन हाथियों को पुनः अपना जीवन शान से जीते देखने की सलाह दूंगा। इन हाथियों पर की जा रही क्रूरता को भारत और दुनिया भर में कहीं भी होने से हमें रोकने का प्रयास करना आवश्यक है। मुझे वाइल्डलाइफ एसओएस को अपना समर्थन देने में खुशी हो रही है।
वाइल्डलाइफ एसओएस के सह-संस्थापक और सीईओ कार्तिक सत्यनारायण ने कहा, जर्मन राजदूत का हाथियों के संरक्षण के लिए अपना समर्थन देना वाइल्डलाइफ एसओएस के लिए सम्मान की बात है। वाइल्डलाइफ एसओएस में हमारा लक्ष्य हाथियों के संरक्षण के साथ-साथ लोगों में संरक्षण के प्रति शिक्षा बढ़ाना भी हैं। हम अपने प्रयासों के लिए निरंतर समर्थन की आशा करते हैं।