Friday, September 20, 2024

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Rajasthan: अलवर के 300 साल पुराने मंदिर तोड़ने के विवाद में निलंबित हुये एसडीएम बोले – हम तो सरकार के आदेशों का पालन करते है

Rajasthan govt suspends 3 officials including Rajgarh SDM

 Rajasthan govt suspends 3 officials including Rajgarh SDM (  ) के   ( ) जिले के राजगढ़ में पिछले दिनों 300 साल पुराने देवालय सहित दो मंदिरों, मकानों और दुकानों को बुलडोजर से जमींदोज कर दिया गया था। अब इस मामले में राजस्थान सरकार ने मंदिर तोड़े जाने पर कार्रवाई करते हुए राजगढ़ अनुमंडल दंडाधिकारी (एसडीएम) केशव कुमार मीणा, राजगढ़ नगर पालिका बोर्ड के अध्यक्ष सतीश दुहरिया और नगर पंचायत के कार्यकारी अधिकारी बनवारी लाल मीणा को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया।

बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया और राजेन्द्र राठौड़ ने गहलोत सरकार को मंदिर तोड़ने का दोषी बताया है। पूनिया ने ट्वीट कर कहा सत्य पराजित नहीं होता। अपने अफसरों की गलती छुपाने के लिए बीजेपी के बोर्ड पर आरोप लगाने वाली राजस्थान कांग्रेस सरकार आखिरकार अफसरों को दोषी मानकर उन पर कार्रवाई कर रही है। अपनी अनैतिक सोच का अफसरों से इम्प्लीमेंटेशन कराने वालों जनता सब देख-समझ रही है कि किसके इशारे पर मंदिर टूटा।

बीजेपी के उपनेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़ ने भी ट्वीट कर कहा है कि  अलवर (Alwar ) में 300 साल पुराना शिव मंदिर तोड़ने को लेकर भाजपा नगरपालिका बोर्ड पर बिना फैक्ट्स और आधार के आरोप लगाने वाली गहलोत सरकार की ओर से अब राजगढ़ SDM पर कार्रवाई करना सबूत है कि मंदिर तोड़ने की दोषी राज्य सरकार ही थी। धार्मिक उन्माद फैलाने वाली कांग्रेस की सच्चाई जनता समझ चुकी है।

निलंबन के बाद एसडीएम केशव कुमार मीणा का बयान आया है,अपने बयान में उन्होंने कहा कि “हम सरकार के नुमाइंदे हैं और सरकार के आदेशों से ही कार्य होते हैं। अब मैं इस बारे में कुछ नहीं कहना चाहता हूं, सरकार के जो आदेश होंगे उसका पालन किया जाएगा। मामले में जांच अधिकारी नियुक्त किए गए हैं और जांच चल रही है।”

साथ ही राजस्थान सराकर द्वारा निलंबित किए गए राजगढ़ नगर पालिका बोर्ड के अध्यक्ष सतीश दुहरिया ने कहा कि, “राजस्थान सरकार द्वारा किया गया ये निलंबन गलत है।चेयरमैन और बोर्ड की इसमें कोई भी भागीदारी नहीं है, बोर्ड ने अपने प्रस्ताव में कभी किसी मंदिर को तोड़ने का उल्लेख नहीं किया। मैं उच्च न्यायालय का दरवाज़ा खटखटाऊंगा।”

बता दें कि इस कार्रवाई के बाद से राजनीतिक हलकों में घमासान जारी है, एक तरफ बीजेपी प्रदेश व्यापी आंदोलन की योजना बना रही है।वहीं अलवर के कलेक्टर ने भी कहा कि तोड़े गए मंदिरों का उसी स्थान पर पुननिर्माण कराया जाएगा। जबकि नगर पालिका के सभापति और मंदिर को ध्वस्त करने वाले लोगों के खिलाफ पुलिस एक्शन लिया जाएगा।

मंदिर, मकान और दुकान तोड़े जाने को लेकर लोग अब भी नाराज है। मंगलवार को तहसीलदार और पटवारी सहित कुछ सरकारी कर्मचारी मौका मुआयना करने गए तो लोगों ने उनके खिलाफ नारेबाजी की। इससे पहले सोमवार शाम को लोगों की पुलिस के साथ धक्कामुक्की हुई थी। यह मामला उच्च न्यायालय में भी पहुंच गया है।

अधिवक्ता अमितोष पारीक ने सोमवार को जनहित याचिका दायर की है। उन्होंने कहा कि शिव मंदिर को असैंवधानिक तरीके से तोड़कर हिंदू समाज की भावनाओं को ठेस पहुंचाई गई है। मकान व दुकान तोड़कर निर्दोष लोगों के मौलिक अधिकारों का हनन किया है। याचिका में सीएम अशोक गहलोत, जिला कलक्टर, नगर पालिका बोर्ड को पक्षकार बनाया गया है।

 

 

Jaba Upadhyay

Jaba Upadhyay is a senior journalist with experience of over 15 years. She has worked with Rajasthan Patrika Jaipur and currently works with The Pioneer, Hindi.