ब्रिटेन ( Britain )की महारानी एलिजाबेथ द्वितीय ( Queen Elizabeth II ) का 96 वर्ष की आयु में स्कॉटलैंड के बाल्मोरल महल में निधन हो गया। बकिंघम पैलेस, यूनाइटेड किंगडम ने बताया कि आज दोपहर बाल्मोरल में रानी एलिजाबेथ का शांतिपूर्वक निधन हो गया। उनकी जगह प्रिसं चार्ल्स को राजा नियुक्त किया गया है।
एलिजाबेथ ( Queen Elizabeth II ) का निधन बालमोराल में हुआ। वो 96 साल की थीं। वो सत्तर साल तक ब्रिटेन की सम्राट रहीं। एलिजाबेथ साल 1952 में ब्रिटेन की महारानी बनीं थीं और सौलह महीने बाद जून 1953 में उनकी ताजपोशी हुई थी।
कुछ दिनों से महारानी एलिजाबेथ( Queen Elizabeth II ) कहीं आने-जाने में असमर्थ थीं। इसलिए वे अपनी मुलाकातें लंदन के बकिंघम पैलेस की बजाय स्कॉटलैंड के बाल्मोरल कैसल में कर रही थीं। महारानी एलिजाबेथ पिछले साल अक्तूबर से स्वास्थ्य समस्याओं का सामना कर रही थीं।
महारानी एलिजाबेथ द्वितीय( Queen Elizabeth II ) महज 25 साल की थीं, जब ब्रिटेन की गद्दी पर उनकी ताजपोशी हुई थी। तब से लेकर अब तक करीब 70 दशक से वे इस गद्दी पर काबिज थीं। वह 96 वर्ष की थीं और ब्रिटेन की सत्ता संभालने वाली सबसे उम्रदराज महिला थीं। इसके अलावा दुनिया के भी सबसे बुजुर्ग शासकों में महारानी एलिजाबेथ का नाम आता था।
जब एलिजाबेथ क्वीन बनीं तब दुनिया ही नहीं ब्रिटेन में भी राजशाही पर सवाल उठ रहे थे। लेकिन महारानी एलिजाबेथ ने तमाम विरोध के बावजूद शाही परिवार के रुतबे और असर को बरकरार रखा।
एलिजाबेथ कभी स्कूल नहीं गईं थीं। उनकी पढ़ाई घर पर ही हुई। उन्होंने कई भाषाएं सीखीं। एलिजाबेथ 21 अप्रैल 1926 को बर्कले में पैदा हुईं थीं। एलिजाबेथ के पिता ड्यूक ऑफ आर्क अल्बर्ट उस दौर के ब्रितानी राजा जार्च पंचम के दूसरे नंबर के बेटे थे। एलिजाबेथ अपने पिता की बड़ी बेटी थीं। उस दौर में शायद ही किसी ने सोचा होगा कि एलिजाबेथ महारानी बनेंगी।
ब्रिटेन के किंग जार्ज पंचम की 1936 में मौत हुई थी। उनकी मौत के बाद शाही गद्दी पर उनके बड़े बेटे डेविड बैठे थे। उन्होंने अपना शाही नाम एडवर्ड अष्टम रखा था।
लेकिन अपने प्रेम प्रसंग के कारण एडवर्ड अष्टम को गद्दी छोड़नी पड़ी। एडवर्ड ने एक तलाकशुदा अमेरिकी महिला से शादी की थी जिसकी वजह से उनका भारी विरोध हुआ।
एडवर्ड के पात हिचकते हुए एलिजाबेथ के पिता अल्बर्ट राजगद्दी पर बैठे और इस तरह एलिजाबेथ के महारानी बनने का रास्ता भी तैयार हुआ।
ये वो दौर था जब हिटलर की ताकत बढ़ रही थी और अल्बर्ट देश का दौरा करके लोगों का राजशाही में भरोसा मजबूत कर रहे थे। एलिजाबेथ भी परिवार के साथ दौरे कर रहीं थीं। वो सिर्फ तेरह साल की थीं जब उनकी मुलाकात अपने भविष्य के पति फिलिप से हुई। फिलिप ग्रीस के राजकुमार थे।
फिलिप और एलिजाबेथ की कई मुलाकातें हुईं और 1944 में दोनों प्यार में पड़ गए थे। एलिजाबेथ की फिलिप से नजदीकी किसी से छुपी नहीं थी।
दूसरा विश्व युद्ध में टेरिटोरियल सर्विस में हिस्सा लेने वाली एलिजाबेथ विश्व युद्ध समाप्त होने के बाद फिलिप से शादी करना चाहती थीं। कई अड़चनों के बाद 20 नवंबर 1947 को एलिजाबेथ की शादी फिलिप से हुई। 1948 में एलिजाबेथ को पहली औलाद प्रिंस चार्ल्स के रूप में मिली। दो साल बाद उनकी बेटी एना का जन्म हुआ।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी महारानी के निधन पर शोक जताया। उन्होंने कहा कि महामहिम महारानी एलिजाबेथ द्वितीय को हमारे समय की एक दिग्गज के रूप में याद किया जाएगा। उन्होंने सार्वजनिक जीवन में गरिमा और शालीनता का परिचय दिया। उनके निधन से आहत हूं। इस दुख की घड़ी में मेरी संवेदनाएं उनके परिवार और ब्रिटेन के लोगों के साथ हैं। 2015 और 2018 में यूके की अपनी यात्राओं के दौरान मेरी महारानी एलिजाबेथ-2 के साथ यादगार मुलाकातें हुईं। मैं उनकी गर्मजोशी और दयालुता को नहीं भूलूंगा। एक बैठक के दौरान उन्होंने मुझे वह रूमाल दिखाया जो महात्मा गांधी ने उन्हें उनकी शादी में उपहार में दिया था। मैं इसको हमेशा रखूंगा।
The Queen died peacefully at Balmoral this afternoon.
The King and The Queen Consort will remain at Balmoral this evening and will return to London tomorrow. pic.twitter.com/VfxpXro22W
— The Royal Family (@RoyalFamily) September 8, 2022