उत्तर प्रदेश ( Uttar Pradesh) में हलाल प्रमाणन (सर्टिफाइड) उत्पादों( Halal-certified products) की बिक्री पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी गई है। बिना किसी अधिकार के खान-पान, औषधि व सौंदर्य प्रसाधन के उत्पादों का हलाल प्रमाणन किया जा रहा था।
यूपी की योगी सरकार ने हलाल सर्टिफिकेट से जुड़े फूड प्रोडक्ट्स ( Halal-certified products)पर बैन लगा दिया है। सरकार का मानना है कि हलाल सर्टिफिकेशन के नाम पर अवैध कारोबार हो रहा है। यही नहीं, सर्टिफिकेशन से होने वाली अवैध कमाई से आतंकी संगठनों और राष्ट्र विरोधी गतिविधियों को फंडिंग की जा रही है।
अपर मुख्य सचिव, खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन व आयुक्त अनीता सिंह की ओर से शनिवार को रोक लगाए जाने की अधिसूचना जारी कर दी गई है। अब किसी व्यक्ति के हलाल प्रमाणन युक्त खानपान की वस्तुएं, औषधि, चिकित्सा के लिए प्रयुक्त अन्य सामग्री व प्रसाधन सामग्रियों के विनिर्माण, भंडारण, वितरण एवं क्रय-विक्रय करते हुए पाए जाने पर उसके खिलाफ विधिक कार्रवाई होगी।
औषधियों, चिकित्सा में प्रयुक्त अन्य सामग्री व सौंदर्य प्रसाधन की लेबलिंग संगत नियमों में निर्धारित प्रावधान के अनुसार न करने, लेबल पर गलत व भ्रामक तथ्य छापने की दशा में औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, वर्ष 1940 की धारा-17 और धारा-17 सी के अंतर्गत मिथ्याछाप की श्रेणी में आता है।
यही नहीं अधिनियम में ऐसा कोई प्रावधान नहीं है कि हलाल प्रमाणीकरण का अंकन उत्पादों के लेबल पर किया जाए। ऐसे में अगर इन वस्तुओं पर हलाल प्रमाणीकरण से संबंधित किसी भी तथ्य का प्रत्यक्ष व परोक्ष रूप से अंकन किया जाता है, तो वह उक्त अधिनियम के अंतर्गत मिथ्याछाप होगा।
ऐसे में मिथ्याछाप औषधि, चिकित्सा में प्रयुक्त अन्य सामग्री व प्रसाधन सामग्रियों के विनिर्माण, भंडारण, वितरण, एवं क्रय-विक्रय किया जाना इस अधिनियम की धारा-18 के प्रतिबंधित है और धारा-27 के तहत दंडनीय अपराध है। ऐसे में इसका विनिर्माण व बिक्री इत्यादि करने पर कठोर विधिक कार्रवाई की जाएगी।
दरअसल, लखनऊ के ऐशबाग के रहने वाले शैलेंद्र कुमार शर्मा ने हजरतगंज थाने में गुरुवार (16 नवंबर) को हलाल सर्टिफिकेट ( Halal-certified products)जारी करने वाली 4 कंपनियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी। इनमें हलाल इंडिया प्राइवेट लिमिटेड चेन्नई, जमीयत उलेमा हिंद ट्रस्ट दिल्ली, हलाल काउंसिल ऑफ इंडिया मुंबई और जमीयत उलेमा मुंबई शामिल हैं। ये कंपनियां वेज फूड को भी सर्टिफाइड कर रही थीं।
हलाल पर यूपी में बैन लगाने पर जमीअत उलमा-ए-हिंद प्रेस रिलीज जारी किया है। जमीअत का कहना है कि उसके पास हलाल को लेकर वैध प्रमाण पत्र है। वाणिज्य मंत्रालय का प्रमाण पत्र है। साथ ही तय नियम के अनुसार हलाल का कार्य कर रहा है। जमीअत ने कहा कि वो पूरी स्पष्टता और ईमानदारी के साथ हलाल का संचालन कर रहा है।
भारत में फूड सेफ्टी एंड स्टैंडर्ड्स अथॉरिटी ऑफ इंडिया सर्टिफिकेशन (FSSAI) करीब सभी प्रोसेस्ड खाने पर देखा जा सकता है। यह अथॉरिटी भारत में हलाल सर्टिफिकेट नहीं देती। भारत में हलाल सर्टिफिकेट देने वाली महत्वपूर्ण कंपनियां हैं- हलाल इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, हलाल सर्टिफिकेशन सर्विसेज इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, जमात उलेमा-ए-महाराष्ट्र और जमात उलेमा-ए-हिंद हलाल ट्रस्ट।
उत्तर प्रदेश (#UttarPradesh) में ‘हलाल सर्टिफाइड’ उत्पाद पर लगा प्रतिबंध
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— IANS Hindi (@IANSKhabar) November 18, 2023