पूर्वोत्तर राज्य मिजोरम ( Mizoram )में 1984 से कभी कांग्रेस तो कभी मिजो नेशनल फ्रंट (एमएनएफ) सरकारें रही हैं। इस बार राज्य पूर्व आईपीएस लालदुहोमा की नेतृत्व में बनी नई राजनीतिक पार्टी जोरम पिपुल्स मूवमेंट (जेडपीएम) बहुमत में आई है। वहीं, एमएनएफ के जोरामथांगा ( Zoramthanga )अपनी सरकार को बचाने में नाकामयाब रहे।
पूर्वोत्तर राज्य मिजोरम ( Mizoram )में लोगों ने परिवर्तन का जनादेश दिया है। मिजोरम विधानसभा चुनावों में सत्ताधारी मिजो नेशनल फ्रंट को करारी हार का सामना करना पड़ा है। राज्य में अब जेडपीएम की सरकार बनेगी। तो वहीं दूसरी पूर्वोत्तर में मिजोरम से फिर वापसी करने का सपना देख रही कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। पार्टी सिर्फ एक सीट हासिल कर पाई। चुनावों में कारारी हार के बाद सीएम जोरमथांगा ने इस्तीफा दे दिया है। मिजोरम की 40 सदस्यीय विधानसभा के लिए 7 नवंबर को मतदान हुआ था।
विधानसभा चुनावों में हार के बाद एमएनएफ के प्रमुख और मिजोरम ( Mizoram )के मुख्यमंत्री जोरमथांगा ने आइजोल (Aizawl )में राजभवन पहुंचकर इस्तीफा दे दिया। उन्होंने अपना इस्तीफा राज्यपाल डॉ. हरि बाबू कंभमपति को सौंपा।
मिजोरम ( Mizoram )में विधानसभा चुनावों की मतगणना पूरी हो गई है। जेडपीएम को चुनावों में जीत हासिल हुई है। उसे कुल 27 सीटें हासिल हुई हैं। तो वहीं सत्ता में काबिज मिजो नेशनल फ्रंट को 10 सीटें मिली हैं। बीजेपी को इन चुनावों में दो सीटें मिली हैं, जब पूर्वोत्तर में मिजोरम के जरिए वापसी का सपना संजो रही कांग्रेस 1 सीट पर सिमट गई है। राज्य विधानसभा कुल सीटों की संख्या 40 है।

#WATCH आइजोल: मिजोरम के मुख्यमंत्री जोरमथांगा ने राजभवन में राज्यपाल डॉ. हरि बाबू कंभमपति को अपना इस्तीफा सौंपा। pic.twitter.com/Q57ODEg9no
— ANI_HindiNews (@AHindinews) December 4, 2023