झांसी ( Jhansi ) में यूपीएससी ( UPSC) सिविल सर्विसेज परीक्षा की तैयारी कर रहे एक युवक मयूर रजक( Mayur Rajak )ने अपने ऊपर पेट्रोल डालकर आग लगाई फिर छत से कूदकर आत्महत्या कर ली। मयूर ने यह आत्मघाती कदम उस समय उठाया जब घर के लोग सो रहे थे किसी को पता नहीं चल पाया कि वह कब छत पर गया, कब आग लगा कर नीचे कूद गया ।युवक के पिता आरपीएफ में सब इंस्पेक्टर के पद पर तैनात हैं। इकलौते बेटे की मौत के बाद से परिवार के लोगों का रो-रोककर बुरा हाल बना हुआ है।
जानकारी के अनुसार, झांसी ( Jhansi ) के सीपरी बाजार थाना क्षेत्र की चित्रकूट कॉलोनी में रहने वाले मयूर रजक ( Mayur Rajak ) (26) ने बीती रात 2.40 बजे उसने अपने घर की चौथी मंजिल पर जाकर पहले अपने ऊपर पेट्रोल डालकर आग लगाई और उसके बाद छत से कूद गया।तकरीबन सवा तीन बजे पड़ोस में रहने वाला सिपाही ड्यूटी के लिए निकल रहा था। उसने सड़क पर पड़े मयूर को देखा। सूचना पर झांसी ( Jhansi ) के सीपरी थाने की पुलिस मौके पर पहुंच गई। इसके बाद मां को बेटे के आत्महत्या करने की जानकारी हो पाई।
मयूर ( Mayur Rajak )मां के साथ घर की पहली मंजिल पर रहता था। एक कमरे में मां अनीता रहती हैं। जबकि दूसरे कमरे में मयूर ने अपना स्टडी रूम बना रखा था। उसी कमरे में वो सोता था। शुक्रवार रात को उसने पहले स्कूटी में पेट्रोल भरवाया। जब मां सो गई तो पाइप डालकर बाल्टी में पेट्रोल निकाला। फिर सीढ़ी लगाकर चौथी मंजिल पर पहुंचा। वहां अपने मुंह में कपड़ा ठूंसा, ताकि चीखें न निकले। इसके बाद अपने ऊपर तेल डालकर आग लगा ली और फिर जलते हुए नीचे कूद गया।
मयूर रजक ( Mayur Rajak )के पास से एक सुसाइड नोट भी मिला है, जिसमें उसने लिखा है कि आत्महत्या के सौ से ज्यादा कारण हो सकते हैं। इसमें किसी का दोष नहीं है। इसके लिए किसी को परेशान न किया जाए। विधि-विधान से उसका अंतिम संस्कार किया जाए और अस्थियां गंगा जी के उद्गम स्थल पर प्रवाहित की जाएं। इकलौते बेटे की मौत के बाद से परिवार के लोगों का रो-रोककर बुरा हाल बना हुआ है।

मयूर ( Mayur Rajak )पिछले कई सालों से संघ लोक सेवा आयोग ( UPSC) की तैयारी कर रहा था, लेकिन उसके हाथ लगातार असफलता लग रही थी। पिछले तीन बार से वह कुछ एक नंबरों से पीछे रह जा रहा था। इससे वह परेशान रहने लगा था। इससे वह परेशान रहने लगा था। मयूर रजक के पिता मनोज कुमार रजक फिरोजाबाद ( Firozabad ) में आरपीएफ में सब इंस्पेक्टर के पद पर तैनात हैं। वहीं, बहन आकांक्षा बेंगलुरु में रहकर पीएचडी कर रही है। वह अपनी मां के साथ रहता था।
मृतक मयूर ( Mayur Rajak )के ताऊ हरिकृष्ण रजक ने बताया कि मयूर पढ़ने में होशियार था। उसने 2019 में सोनीपत से फूड टेक्नोलॉजी विषय से बीटेक पास की। फिर दिल्ली जाकर यूपीएससी की तैयारी करने लगा। लेकिन डेढ़ साल बाद ही कोरोना की वजह से उसे घर लौटना पड़ा। अब वह घर से ही तैयारी कर रहा था।