उत्तर प्रदेश ( Uttar Pradesh) के जौनपुर (Jaunpur) जिले में पत्रकार आशुतोष श्रीवास्तव( Journalist Ashutosh Srivastava) की गोली मारकर हत्या कर दी गई। शाहगंज कोतवाली क्षेत्र के सबरहद निवासी आशुतोष सोमवार सुबह घर से निकले। घर से 500 मीटर की दूरी पर बाइक सवार 2 बदमाशों ने उन पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी। सीने और पेट में 4 गोलियां लगी। आसपास के लोग आशुतोष को आनन-फानन में अस्पताल लेकर भागे। यहां जांच के बाद डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। परिवार वालों ने पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि इस बारे में अगर आशुतोष की शिकायत सुन ली गई होती तो आज शायद वह जिंदा होते।
परिजनों के मुताबिक, पत्रकार आशुतोष श्रीवास्तव ( Journalist Ashutosh Srivastava) ने कुछ दिन पहले ही सीओ शाहगंज और थाना प्रभारी शाहगंज को पत्र लिखकर जान का खतरा बताया था। सुरक्षा के लिए गुहार भी लगाई थी, लेकिन पुलिस ने कोई ध्यान नहीं दिया। न ही आशुतोष के प्रार्थना-पत्र पर कोई विचार किया गया। हत्या के बाद लोगों ने सड़क जाम कर प्रदर्शन भी किया।
आशुतोष के छोटे भाई की पत्नी डॉली श्रीवास्तव ने बताया कि 10 दिन पहले शाहगंज कोतवाली में आशुतोष को बुलाया गया था। पुलिस ने कहा था कि आप घर से न निकलिए। घर में रहिए। आपकी जान को खतरा है। दो शूटर आपको मारना चाहते हैं। इस पर आशुतोष ने कहा कि मैं कब तक अपने घर में रहूंगा। आप मुझे सुरक्षा दे दीजिए। लेकिन, पुलिस ने सुरक्षा नहीं दी।
छोटे भाई की पत्नी डॉली श्रीवास्तव ने बताया कि आज सुबह 9 बजे आशुतोष ने नाश्ता किया। फिर बुलट से बाहर निकले थे। जाते समय कहा था कि थोड़ी देर में आकर खाना खाता हूं। लेकिन, कुछ देर बाद ही उन्हें गोली मार दिए जाने की सूचना मिली।
पत्रकार आशुतोष श्रीवास्तव ( Journalist Ashutosh Srivastava) की हत्या के पीछे भूमाफियाओं पर भी शक गहरा रहा है। जौनपुर (Jaunpur) पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक, परिजनों ने बताया कि वो भूमाफिया के खिलाफ खबरें लिखते थे। संभावना जताई जा रही है कि इसी रंजिश को लेकर पत्रकार की हत्या की गई है।