Sunday, April 20, 2025

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West Bengal:मुर्शिदाबाद हिंसा के बाद 500 हिंदुओं का पलायन,नदी पार कर मालदा में ली शरण,बीएसएफ तैनात, इंटरनेट बंद

Hundreds Hindus flee violence-hit Murshidabad, BSF deployed, internet suspendedवक्फ कानून के विरोध में शनिवार को  (   के मुर्शिदाबाद (Murshidabad )  , नॉर्थ 24 परगना, हुगली और मालदा जिलों में हिंसक विरोध प्रदर्शन हुए। गाड़ियां जलाईं, दुकानों-घरों में तोड़फोड़ कर लूट भी की गई। अब तक 3 लोगों की मौत हो चुकी है। 15 पुलिसकर्मी घायल हैं। 150 लोग गिरफ्तार किए गए हैं।

पश्चिम बंगाल में 10 अप्रैल से हिंसा जारी है। केंद्र सरकार ने हिंसाग्रस्त इलाकों में 1600 जवान तैनात किए हैं। इनमें 300 बीएसएफ जवान हैं। कुल 21 कंपनियां तैनात की गई हैं। हिंसाग्रस्त इलाकों में इंटरनेट बैन है। BNS की धारा 163 भी लागू है।

इधर, मुर्शिदाबाद (Murshidabad ) के धुलियान से करीब 500 लोग पलायन कर गए हैं। इन सभी ने नदी पार मालदा के वैष्णवनगर में एक स्कूल में शरण ली है। इन लोगों का आरोप है कि उनके घरों में तोड़फोड़-आगजनी की गई। पीने के पानी में जहर मिला दिया गया है। ये किसी तरह बीएसएफ की मदद से वहां से बचकर आए हैं।

मुस्लिम बहुल मुर्शिदाबाद(Murshidabad )  जिले के सुती, धुलियान, जंगीपुर और शमशेरगंज समेत कई इलाकों में वक्फ (संशोधन) अधिनियम के खिलाफ हिंसक प्रदर्शन हुए, जो सांप्रदायिक हिंसा में बदल गये। इसके कारण प्रभावित लोगों का पलायन शुरू हो गया। मुर्शिदाबाद के इन इलाकों में दुकानें, होटल और घर जलते हुए दिखाई दे रहे हैं।

कोलकाता हाईकोर्ट ने शनिवार को मुर्शिदाबाद (Murshidabad ) में तुरंत केंद्रीय बल तैनात करने का आदेश दिया है। इस दौरान कोर्ट ने कहा- ‘हम आंखें बंद नहीं कर सकते। संवैधानिक अदालतें मूकदर्शक नहीं बन सकतीं। जब लोगों की सुरक्षा खतरे में हो तो तकनीकी बचाव में उलझे नहीं रह सकते। ऐसा लगता है कि समय पर उचित कदम नहीं उठाए गए। प्रत्येक नागरिक को जीवन का अधिकार है। यह सुनिश्चित करना राज्य की जिम्मेदारी है कि प्रत्येक नागरिक का जीवन और संपत्ति सुरक्षित रहे।’

मुर्शिदाबाद हिंसा(Murshidabad violence)  के बाद सैकड़ों लोगों ने इस शहर को छोड़ दिया है। वक्फ कानून के खिलाफ मुर्शिदाबाद में प्रदर्शन के दौरान हिंसा भड़की थी, शहर में दुकानों को जला दिया गया और लोगों और पुलिस पर हमले भी हुए। हाल इतनी बिगड़ी की कलकत्ता हाईकोर्ट ने केंद्रीय बलों की तैनाती का आदेश दे दिया। बीएसएफ की तैनाती के बाद मुर्शिदाबाद में हिंसा तो थम गई है, लेकिन हिंसा के डर से सैकड़ों लोग शहर छोड़कर जा चुके हैं।

राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने दावा किया कि हिंसा के बाद धुलियान से 500 लोग पलायन करने को मजबूर हुए हैं। उन्होंने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘धार्मिक कट्टरपंथियों के डर के कारण मुर्शिदाबाद से 500 से अधिक हिंदू नदी पार भागने और मालदा में शरण लेने के लिए मजबूर हुए हैं। टीएमसी की तुष्टीकरण की राजनीति ने कट्टरपंथी तत्वों को बढ़ावा दिया है। हिंदुओं को शिकार बनाया जा रहा है, हमारे लोग अपनी ही जमीन पर जान बचाने के लिए भाग रहे हैं! कानून-व्यवस्था की इतनी खराब स्थिति पर राज्य सरकार को शर्म आनी चाहिए।’’

बीजेपी नेता सुवेंदु अधिकारी ने कहा- यहां न नौकरी, न स्वास्थ्य, न शिक्षा व्यवस्था है, सिर्फ वोट बैंक के लिए तुष्टिकरण है। हिंदुओं को प्रताड़ित किया जाता है, हिंदुओं की हत्या की जाती है, हिंदुओं की दुकानें लूटी जाती हैं, हिंदुओं के मंदिर तोड़े जाते हैं और आप कह रहे हैं कि हिंदू भड़का रहे हैं। चुनाव के समय चुनाव आयोग को राष्ट्रपति शासन में चुनाव कराना चाहिए। हम जिहादियों से लड़ने के लिए तैयार हैं। लेकिन बंगाल में बिना राष्ट्रपति शासन के चुनाव नहीं हो सकते। जहां हिंदू 50% से कम हैं, ये लोग उस बूथ पर हिंदुओं को वोट नहीं देने देंगे चुनाव की पूर्व संध्या पर चुनाव आयोग को पश्चिम बंगाल में राष्ट्रपति शासन की मांग करनी चाहिए।

पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में भड़की हिंसा (Murshidabad violence) के बाद वहां के हालात को लेकर बीएसएफ ने ताजा जानकारी दी है। बीएसएफ के साउथ बंगाल फ्रंटियर के डीआईजी पीआरओ नीलोत्पल कुमार पांडे ने बताया कि कल हालात और ज्यादा गंभीर हो गए थे। समशेरगंज इलाके में बीएसएफ की टीमों पर पेट्रोल बम और पत्थरों से हमला किया गया। उन्होंने कहा, ‘हमारी पार्टियों पर हमला उन्हीं लोगों ने किया जो शुरू से ही माहौल बिगाड़ने में लगे हैं। हालात अब बेहतर हो गए हैं। हमारे किसी जवान को गंभीर चोट नहीं आई है, लेकिन जब भारी पत्थरबाजी होती है, तो मामूली चोट लगना तो स्वाभाविक है।’

नीलोत्पल कुमार पांडे ने आगे बताया कि जैसे ही स्थिति बिगड़ी, प्रशासन के कहने पर BSF की कंपनियां मौके पर तैनात की गईं। ‘पहले दो कंपनियां भेजी गई थीं, फिर अगले दिन संख्या बढ़ाकर नौ कंपनियां तैनात कर दी गईं। हम सभी संवेदनशील इलाकों में मौजूद हैं। लोग डरे हुए हैं, ये सच है।’

 

 

Vijay Upadhyay

Vijay Upadhyay is a career journalist with 23 years of experience in various English & Hindi national dailies. He has worked with UNI, DD/AIR & The Pioneer, among other national newspapers. He currently heads the United News Room, a news agency engaged in providing local news content to national newspapers and television news channels

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